सरकार ने मंगलवार को कोरोना वायरस के मद्देनजर देशव्यापी लॉकडाउन (बंद) के कारण उत्पन्न स्थिति, इससे निपटने को लेकर उठाये जा रहे कदमों की विस्तृत समीक्षा की। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता वाले मंत्रियों के समूह (जीएओएम) ने स्थिति की समीक्षा की। इस बैठक में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री राम विलास पासवान, रेल मंत्री पीयूष गोयल, पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान, सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, केंद्रीय मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक, हरदीप सिंह पुरी, कृषि मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर आदि ने भी शिरकत की।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने अपने ट्वीट में कहा, ''आज मंत्रियों के समूह ने लॉकडाउन के बाद की स्थिति पर विस्तृत चर्चा की। हमने केंद्रीय मंत्रिमंडल के उस निर्णय का स्वागत किया जिसमें सभी सांसदों के वेतन में एक वर्ष तक कटौती करने और सांसद निधि को दो वर्ष के लिये स्थगित रखने का फैसला किया गया है। उन्होंने कहा कि इसके माध्यम से बचायी गई राशि का उपयोग कोरोना वायरस के खिलाफ भारत की लड़ाई को मजबूत करने के लिये किया जायेगा। सिंह ने कहा कि मंत्रियों ने इस बात पर अपने विचार रखे कि हम इस स्थिति से कैसे बाहर निकल सकते हैं और लोगों को कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में लोगों को सजग, सतर्क और प्रतिबद्ध रखने में मदद कर सकते हैं। समझा जाता है कि मंत्रियों ने कोरोना वायरस के मामले बढ़ने से उत्पन्न स्थिति से निपटने के लिये उठाये गए कदमों एवं व्यवस्थाओं के बारे में जानकारी दी। गौरतलब है कि नयी दिल्ली, मुंबई और देश के अन्य हिस्से में और ज्यादा लोगों के कोरोना से संक्रमित होने के बाद देश भर में 114 लोगों की मौत हुई है और संक्रमित लोगों का आंकड़ा 4,421 तक पहुंच चुका है।