बस्ती। जिलाधिकारी आशुतोष निरंजन ने रामजानकी मार्ग के चौड़ीकरण हेतु 0.000छावनी से किमी 55.000 तक रामजानकी मार्ग के मध्य पुनुरूद्धार एवं उच्चीकरण के निर्माण कार्य को तत्काल प्रभाव से रोके जाने का आदेश दिया है। जिलाधिकारी ने आदेश में कहा है कि अधिशासी अभियन्ता रा.मा. लोक निर्माण विभाग लखनऊ परियोजना के सम्बन्ध में आख्या और अभिलेख प्रस्तुत करें, भविष्य से शासन से प्राप्त दिशा निर्देश के क्रम में आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित की जायेगी।
ज्ञात रहे कि किसानों को मुआवजा देने की मांग को लेकर समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं उ.प्र. आवास विकास परिषद के पूर्व उपाध्यक्ष सिद्धार्थ सिंह लगातार संघर्षरत है। सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भी उनसे फोन पर मामले की जानकारी दिया था। विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता राम गोविन्द चौधरी ने भी मुख्यमंत्री को पत्र भेजकर सम्बंधित अधिकारियों को शीघ्र प्रभावी कार्रवाई किये जाने हेतु आदेशित करने का आग्रह किया था।
सपा नेता सिद्धार्थ सिंह ने कहा कि उप जिलाधिकारी बस्ती सदर एवं हर्रैया को अवगत कराया गया था कि जनपद के दुबौलिया, बहादुरपुर व कुदरहा क्षेत्र से जा रहे 227 ए नेशनल हाइवे पर अनेक गांवों के किसानों की भूमि रामजानकी मार्ग के किनारे पड़ती है, बिना किसानों को मुआवजा दिये वहां जबरिया सड़क निर्माण कराया जा रहा है। उप जिलाधिकारी हर्रैया प्रेम प्रकाश मीणा के आश्वासन पर किसानों ने अपना शांतिपूर्ण धरना स्थगित कर दिया था । सपा नेता सिद्धार्थ ने कहा कि किसानों को उनका हक दिलाने के संघर्ष में पहली विजय मिली है। जब तक किसानों को मुआवजा नहीं मिल जाता चरणबद्ध ढंग से प्रयास जारी रहेगा। किसी भी स्थिति में बिना मआवजा दिये सड़क निर्माण नहीं कराने दिया जायेगा। सड़क निर्माण कार्य रोके जाने के आदेश से प्रभावित किसानों में प्रसन्नता की लहर है।