कार्यों में लापरवाही पर कई को नोटिस कार्यवाही
 


" alt="" aria-hidden="true" /> कार्यो, दायित्वों के निर्वहन में लापरवाही बरतने के मामले में कई विभागों के अधिकारियों, कर्मचारियों पर निलम्बन और स्पष्टीकरण की गाज गिरी है। ग्रामीण अभियन्त्रण विभाग कार्यालय के वरिष्ठ लिपिक मनोज सिंह को लापरवाही के चलते निलम्बित करने, दो गैर हाजिर मिले कर्मचारियों को कारण बताओ नोटिस देने का डीएम ने निर्देश दिया है। पूर्वान्चल विकास निधि योजना का समय से कार्य पूरा न होने पर सहायक अभियन्ता एके सिंह, अवर अभियन्ता को नोटिस देते हुए वेतन रोकने, सीसी रोड़ का कार्य अभी तक अपूर्ण के बावजूद नोटिस न जारी करने के लिए डीलिंग क्लर्क कीे लापरवाही पर उसे दण्डित किया है।
अवहेलना में समाज कल्याण अधिकारी को कारण बताओ नोटिस
जिलाधिकारी आशुतोष निरंजन ने समाज कल्याण अधिकारी रामनगीना यादव को निर्देशो की अवहेलना करने पर कारण बताओं नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण तलब किया है। समाज कल्याण कार्यालय के निरीक्षण दौरान 17 नवम्बर रविवार को आश्रम पद्धति विद्यालय में खराब भोजन सामाग्री पाये जाने पर संबंधित ठेकेदार को नोटिस जारी करने के दिए गए निर्देश का अनुपालन नहीं करने पर तीन दिन मंे स्पष्टीकरण देने का निर्देश दिया। कहा कि इस लापरवाही के लिए क्यो न उनके विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाय।  
दो सीडीपीओ को विशेष प्रतिकूल प्रविष्टि  
कार्यों में लापरवाही पाए जाने पर रुधौली सीडीपीओ अलीमुन्निसा तथा गौर सीडीपीओ निशा श्रीवास्तव को विशेष प्रतिकूल प्रविष्टि देने का डीएम ने निर्देश दिया है। डीपीओ को निर्देशित किया कि दोनों सीडीपीओ के सर्विस बुक में प्रतिकूल प्रविष्टि चस्पा कर प्रमाण पत्र दें। जिला पोषण मिशन की समीक्षा बैठक में पाया कि रुधौली में कोई भी अतिकुपोषित बच्चा एनआरसी को नही भेजा गया है। इसके अलावा पिछले माह में केवल नौ अतिकुपोषित बच्चे ग्रीन श्रेणी में आए हैं। पूरे वर्ष में 4444 अतिकुपोषित में से 1846 बच्चे ही ग्रीन श्रेणी में आए हैं, जो कि जिले में सबसे कम है। यहां 'सैम' बच्चों की संख्या शून्य है। इससे स्पष्ट है कि अधिकारियो-कर्मचारियों द्वारा कार्य मे रूचि नही ली जा रही है।बैठक में गौर की सीडीपीओ निशा श्रीवास्तव अनुपस्थित पाई गई। उनके क्षेत्र में भी अतिकुपोषित बच्चों को पोषित की श्रेणी में बेहद कम पाया गया। पिछली बैठक में गौर की सीडीपीओ से स्पष्टीकरण तलब किया गया था जिसका उन्होंने अभी तक कोई जवाब नहीं दिया है। सीडीपीओ के क्षेत्र में 61 प्रतिशत बच्चे अभी भी अतिकुपोषित हैं। जिलाधिकारी ने इन्हें कारण बताओ नोटिस जारी करने का निर्देश दिया।