बस्ती 11 जून 2020 सू०वि०, जिलाधिकारी आशुतोष निरंजन ने ब्लाक सदर में बेसिक शिक्षा परिषद के प्राईमरी एवं उच्च प्राईमरी स्कूलों में पढने वाले लगभग 02 लाख बच्चों के लिए ड्रेस तैयार करने के लिए सिलाई केन्द्र का फीता काटकर उदघाटन किया। इस अवसर पर उन्होने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा लिए गये निर्णय के अनुपालन में अब छात्र-छात्राओं की डेªस स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा सिली जायेंगी।
उन्होने कहा कि प्रत्येक छात्र-छात्रा को दो डेªस दी जायेंगी। शासन द्वारा प्रत्येक छात्र-छात्रा पर ड्रेस के लिए अधिकतम 600 रूपया निर्धारित किया गया है। उन्होने बताया कि स्वयं सहायता समूह द्वारा तैयार की जा रही डेªस की गुणवत्ता अच्छी होगी तथा उन्हें इस काम का अच्छा लाभ भी मिलेगा।
उन्होने कहा कि सरकार के इस निर्णय से सिलाई, कढाई वाली महिलाओं को अपने जिले में ही रोजगार मिलेगा। कुछ समूहों द्वारा इसमंे लगने वाला सामान कालर, बटन, धागा, स्तर आदि सामनांे की आपूर्ति की जायेंगी। इससे प्रवासी कामगारों को काम मिल सकेंगा।
उन्होने कहा कि आगामी 01 माह में दो लाख बच्चों की डेªस का काम पूरा कर लिया जाय। उन्होने बेसिक शिक्षा अधिकारी को निर्देश दिया कि डेªस सिलाई के संबंध में स्कूल प्रबन्धन समिति आवश्यक प्रक्रिया समय से पूरी कर लें ताकि उन्हे धन प्राप्त होने पर समूह के खाते में स्थानान्तरित किया जा सकें।
मुख्य विकास अधिकारी सरनीत कौर ब्रोका ने कहा कि जिले में जो भी रोजगारपरक योजनाएं संचालित है उसमें 50 प्रतिशत भागीदारी महिला स्वयं सहायता समूहों की कराई जा रही है। उन्होने कहा कि विशेषज्ञ डेªस कटर आयोध्या से बुलाये गये है और वेे 26 से 32 नम्बर के डेªस बनाने के लिए मशीन से कटिंग का काम करेंगे। महिला स्वयं सहायता समूहों द्वारा इसकी सिलाई की जायेंगी। प्रवासी कामगारों द्वारा डेªस को प्रेस किया जायेंगा।
उपायुक्त राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन रामदुलार ने बताया कि महिला स्वयं सहायता समूहों को सरकार द्वारा बहुत बड़ा काम उपलब्ध कराया गया है जिससे उनकी आय में इजाफा होगा। इस अवसर पर बेसिक शिक्षा अधिकारी, महिला समूहो की अध्यक्ष दुर्गावती, बिन्दु, कपिल, भारतेन्दु, दिव्यकान्त, भुआलसिंह, सुनिल कुमार, प्रसान्त खरे, रमाकान्त शुक्ला, कटर रिजवान, गुलसाद अहमद, अताअशरफ अंसारी उपस्थित रहे।